ऑस्कर अवार्ड को आज की दिन दुनिया के सबसे लोकप्रिय फ़िल्म पुरस्कार माना जाता है। लेकिन आपको ये जानकर हैरानी होगी ऑस्कर इसका ओरिजिनल नाम नहीं है, बल्कि इस अवार्ड को आधिकारिक तौर पर अकादमी अवार्ड (Academy Award) के नाम से बुलाया जाता है। और ये अपने आप में ही एक रहस्य है की इसका नाम ऑस्कर कैसे पड़ा। लेकिन इससे भी दिलचस्प कहानी ये है की इन अवार्ड के कॉन्सेप्ट को बनाया गया था हॉलीवुड (Hollywood) की गिरती प्रतिष्ठा को बचाने के लिए। और आज के दिन देखिए ये अवार्ड इतने बड़े हो चुके है की दुनिया भर के फ़िल्म निर्माता, अभिनेता और निर्देशक एक ऑस्कर जितना चाहते है उनका सबसे बड़ा सपना है एक ऑस्कर जितना। इस साल के जो ऑस्कर (Oscar) है वह भारत के काफ़ी खास है। क्योंकि हमे तिन नामांकन (Nomination) मिले है इस बार पहला है RRR का गाना नाटू- नाटू जिसे बेस्ट म्यूजिक ओरिजिनल सॉंग केटेगरी में नामांकित किया गया है। दूसरा All That Breathes जो बेस्ट डॉक्यूमेंट्री फीचर के लिए नामांकित है। और तीसरा है The Elephant Whisperers जिसे बेस्ट डॉक्यूमेंट्री शोर्ट फ़िल्म के लिए नामांकित किया गया है । पर अब आपके मन में ये सवाल जरुर आया होगा की आखिर ये नॉमिनेशन लिस्ट कैसे तय किया जाता है। और कौन वह लोंग है जो विजेता (Winner) चुनते है इस पुरुस्कार का। नमस्कार दोस्तों स्वागत है आपका Tathya Darshan (तथ्य दर्शन ) में जहाँ हम विभिन्न विषयों से संबंधित महतवपूर्ण तथा रोचक जानकारी आप तक आसान शब्दों में साझा करते है। आज इस लेख के हम जानेंगें आखिर ऑस्कर में नॉमिनेशन और वोटिंग कैसे काम करता है। History Of Oscar In Hindi विस्तार से।
ऑस्कर अवार्ड में भारत की जीत ( India Win Oscar 2023 In Hindi )
ऑस्कर 2023 भारत के लिए काफ़ी अच्छा रहा। क्योंकि भारत की दों फिल्मों ने दों ऑस्कर अवार्ड्स अपने नाम किए इनमें पहली RRR है, जिसके गाने नाटू – नाटू ने बेस्ट ओरिजिनल सॉंग (Best Original Song) केटेगरी का पुरस्कार (Award) जीता है। वही, दूसरी फ़िल्म The Elephant Whisperers है, जिसने बेस्ट शोर्ट डॉक्यूमेंट्री केटेगरी में अवार्ड जीता।

भारत के ऑस्कर विजेता की सूचि ( List of Indian Academy Award Winners In Hindi )
साल | फ़िल्म का नाम | प्रत्याशी | केटेगरी | रिजल्ट |
1983 | गाँधी | भानु अथैया | बेस्ट कोस्तुम डिज़ाइन | जीता |
2009 | स्लमडॉग मिलेनियर | ए आर रहमान | बेस्ट ओरिजिनल सॉंग | जीता |
2009 | स्लमडॉग मिलेनियर | गुलज़ार | बेस्ट ओरिजिनल सॉंग | जीता |
2009 | स्लमडॉग मिलेनियर | रसूल पूकुटी | बेस्ट साउंड मिक्सिंग | जीता |
2009 | स्लमडॉग मिलेनियर | ए आर रहमान | बेस्ट ओरिजिनल स्कोर | जीता |
2019 | पीरियड एंड ऑफ़ सेंटेंस | गुनीता मौंगा | बेस्ट डॉक्यूमेंट्री शोर्ट फ़िल्म | जीता |
2023 | RRR | एमएम करवानी और चंद्रबोस | बेस्ट ओरिजिनल सॉंग | जीता |
2023 | द एलिफेंट व्हिस्पर्स | बेस्ट डॉक्यूमेंट्री शोर्ट फ़िल्म | कार्तिकी गोंसाल्वेस | जीता |
ऑस्कर अवार्ड का इतिहास – History Of oscar Award In Hindi
साल 1929 यह पहला साल था, जिस साल ऑस्कर अवार्ड को पहली बार दिया गया। इन अवार्ड्स को देने के लिए एक नई संस्था की स्थापना करी गई The Academy of Motion Picture Arts and Science ( AMPAS )। इस संस्था को आज की दिन हम शोर्ट में ‘The Academy’ के नाम से जानते है। और इसी कारण से इन अवार्ड्स का नाम दिया गया “ द अकादमी अवार्ड ”। अब वो जो समय था 1929 वाला वह एक ऐसा समय था जब हॉलीवुड में एक के बाद एक स्कैंडल देखने को मिल रहे थे। कही पर किसी का ड्रग्स ओवर डोज़, तो कही पर किसी का हत्या हो जाता। इसके अलावा जो फ़िल्म बनाने वाले प्रोडक्शन हाउसेस थे वो लेबर की कमी की समस्या से जूझ रहे थे। उन्हें दर था की जो फ़िल्म इंडस्ट्री में काम करने वाले कर्मचारी है, वह संघबद्ध (Unionise) ना कर ले। अधिक वेतन की मांग ना कर ले। 1929 वही साल था जिस साल महामंदी भी शुरू हुई। अमेरिका में स्टॉक मार्केट बहुत तेज़ी से नीजे गिरा। अर्थव्यवस्था चरमरा गई और बेरोजगारी बढ़ने लगी। ऐसे समय पर एक प्रोडक्शन कंपनी थी MGM ( METRO – GOLDWYN – MAYER ) नाम से उन्होंने सोचा की क्यू ना एक अकादमी बनाई जाए जो फ़िल्म इंडस्ट्री में काम करने वाले कर्मचारियों से समझौता कर सके जैसे लेखन, अभिनेता, निर्देशक और उनके सहयोग के बदले में ये अकादमी उन्हें पुरस्कार दे। MGM कंपनी के मालिक लुइस ब. मायेर ( Louis B. Mayer ) ने बड़े फ़ेमस्ली कहा था।
“ I Found That The Best Way
To Handle Filmmakers Was
To Hang Medals All Over Them “
- हिंदी में:-
“ मैंने पाया की फ़िल्म निर्माताओं को
संभालने का सबसे अच्छा तरीका
उन पर पदक झुलाना था । “
तो शुरू के ये जो कुछ अवार्ड्स थे, ये सम्मान के तौर पर नहीं दिए गये थे। बल्कि फ़िल्म निर्माताओं, निर्देशकों और अभिनेतायों को बैहकाने के लिए दिए थे। लेकिन साल दर साल इसकी लोकप्रियता बढती रही, इसे सम्मान के नजरों से देखा जाने लगा।

सर्वश्रेष्ठ विदेशी भाषा फ़िल्म की केटेगरी ( Best Foreign Language Film Category )
साल 1956 में पहली बार सर्वश्रेष्ठ विदेशी भाषा (Best Foreign Language) फ़िल्म की केटेगरी को इन अवार्ड में पेश की गई थी। उस समय तक ये अवार्ड अधिकांश अमेरिकन फ़िल्मों को ही दिए जाते थे। और संयोगवश कभी यूरोपियन फ़िल्मों को मिल जाती थी। 1956 से लेकर आज तक ये जो बेस्ट इंटरनेशनल फ़िल्म (Best Foreign Language Film) की केटेगरी है ये सबसे प्रतिष्ठित केटेगरी रही है। दुनिया भर के फ़िल्म निर्माताओं और निर्देशकों के लिए। अधिकांश विजेता इस केटेगरी के यूरोपियन देश ही रहे है। इटली नंबर एक पर है, जो 14 बार इस अवार्ड को जीता है। भारत की बात करे तो भारत ने इस केटेगरी में अवार्ड आज तक कभी नहीं जीता है। लेकिन तिन फ़िल्मों को नॉमिनेट जरुर किया गया था, इस केटेगरी में। साल 1957 में Mother india को , 1988 में Salaam Bombay और 2001 में Lagaan फ़िल्म।
ऑस्कर अवार्ड केटेगरी ( Academy Award Categories )
कूल मिलाकर ऑस्कर अवार्ड्स में करीब 24 अलग – अलग केटेगरी हैं।
केटेगरी | अवार्ड की शुरुवात हुई |
बेस्ट पिक्चर | 1928 |
बेस्ट डायरेक्टर | 1928 |
बेस्ट एक्टर | 1928 |
बेस्ट सपोर्टिंग एक्टर | 1936 |
बेस्ट एक्ट्रेस | 1928 |
बेस्ट सपोर्टिंग एक्ट्रेस | 1936 |
बेस्ट साउंड एडिटिंग | 1963 |
बेस्ट साउंड मिक्सिंग | 1930 |
बेस्ट फ़िल्म एडिटिंग | 1934 |
बेस्ट इंटरनेशनल फ़िल्म ( बेस्ट फॉरेन लैंग्वेज फ़िल्म) | 1947 |
बेस्ट प्रोडक्शन डिज़ाइन | 1928 |
बेस्ट कोस्तुम डिज़ाइन | 1949 |
बेस्ट ओरिजिनल सॉंग | 1934 |
बेस्ट ओरिजिनल साउंडट्रैक | 1934 |
बेस्ट डॉक्यूमेंट्री फीचर | 1943 |
बेस्ट शोर्ट डॉक्यूमेंट्री फ़िल्म | 1941 |
बेस्ट एनिमेटेड शोर्ट फ़िल्म | 1931 |
बेस्ट एनीमेशन फीचर | 2001 |
बेस्ट सिनेमेटोग्राफी | 1928 |
बेस्ट मेकअप एंड हेयरस्टाइल | 1981 |
बेस्ट अदाप्तेद स्क्रीनप्ले | 1929 |
बेस्ट ओरिजिनल स्क्रीनप्ले | 1940 |
बेस्ट विसुअल इफेक्ट्स | 1939 |
बेस्ट ड्रेस डिज़ाइन | 1948 |
इनमें से हॉलीवुड के लिए पाँच सबसे महत्वपूर्ण केटेगरी है।
- बेस्ट पिक्चर 2. बेस्ट डायरेक्टर 3. बेस्ट एक्टर 4. बेस्ट एक्ट्रेस 5. बेस्ट स्क्रीनप्ले
इन पाँचों को The Big Five भी कहाँ जाता । 95 वां अकादमी अवार्ड समारोह लाँस एंजिल्स के डॉल्बी थिएटर में 12 मार्च 2023 को आयोजित हुआ था, जिसे जिम्मी किम्मेल ने होस्ट किया था। 1929 में इसकी स्थापना के बाद से 95 वें अवार्ड समारोह तक टोटल 3,140 अवार्ड वितरित की जा चुकी हैं।
अकादमी अवार्ड का नियम और पात्रता मानदंड ( Rules and Eligibility Criteria for Academy Award )
ऑस्कर पुरस्कार के नियम और पात्रता विभिन्न श्रेणियों के लिए अलग-अलग होती हैं।
पात्रता मानदंड: Eligibility Criteria
अगर किसी फ़िल्म को इनमें से कोई भी अवार्ड को जितना है, तो उन्हें एक पात्रता मानदंड (Eligibility Criteria) पूरा करना पड़ता है। और ये एलिगिबिल्टी क्राइटेरिया है की आपकी फ़िल्म को कमर्शियल थिएटर में चलाया जाना चाहिए कम से कम एक सप्ताह तक इनमे से कोई भी जगहों पर।
- लाँस एंजिल्स काउंटी ( Los Angeles County )
- द सिटी ऑफ़ न्यू यॉर्क ( The City Of New York )
- द बे एरिया ( The Bay Area )
- शिकागो इलिनोइस ( Chicago illinois )
- मियामी, फ्लोरिडा ( Miami, Florida )
- अटलांटा जोर्जिया ( Atlanta, Georgia )
कुछ अवार्ड केटेगरी के लिए अपवाद दी गई है। जैसे की बेस्ट डॉक्यूमेंट्री फीचर और बेस्ट शोर्ट डॉक्यूमेंट्री फ़िल्मके जो अवार्ड दिए जाते हैबेस्ट शोर्ट डॉक्यूमेंट्री फ़िल्म उनकी एलिगिबिलिटी क्राइटेरिया कुछ अलग है। जैसे उन्हें अधिकारिक रूप से उन फ़िल्मों के निर्माताओं द्वारा सबमिट किया जाना चाहिए। और जो बेस्ट फॉरेन लैंग्वेज फ़िल्म ( Best International film ) की केटेगरी है। इसके लिए जिस देश की वह फ़िल्म है, वह देश अपनी तरफ से इसको सबमिट करे इस केटेगरी में। और हर देश एक साल में एक ही फ़िल्म को पेश कर सकते हैं।
नियम: Rules
फ़िल्मों को एलिगिबिलिटी क्राइटेरिया पूरा करने के बाद The Academy of Motion Picture Arts and Sciences (AMPAS) के द्वारा फ़िल्मों को शोर्टलिस्ट किया जाता है। उसके बाद शोर्टलिस्ट किया गया फ़िल्मों से कुछ फ़िल्म को नॉमिनेशन किया जाता है और बाकि बचे फ़िल्म को निकल दिया जाता है। अब इसके बाद शोर्टलिस्ट किया गया फ़िल्मों से किसी एक को विजेता घोषित किया जाता हैं। अब सवाल ये उठता है की इन विजेताओं को चुना कैसे जाता हैं।
ELIGIBILITY
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SHORTLIST
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NOMINEE
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WINNER
ऑस्कर विजेताओं को कैसे चुना जाता हैं : How Are The Oscar Winners Chosen
वोटिंग प्रक्रिया के द्वारा इस विजेताओं को चुना जाता है। ऑस्कर अवार्ड में करीब 10,000 लोग वोट करते है। जो मूल रूप से फ़िल्म इंडस्ट्री के ही पेशेवर लोग होते है। जैसे की फ़िल्म निर्देशक, फ़िल्म लेखक, अभिनेता और इनमे से कोई लोग वह है जो पुराने ऑस्कर में नॉमिनेशन जीते है या फिर अवार्ड जीते है। इन इन अलग – अलग वोटर्स को 17 ब्रान्चेस में बाटा जाता है। जैसे की एक ब्रांच हो गई निर्देशकों (Directors) की, एक ब्रांच हो गई कास्टिंग डायरेक्टर्स की, एक प्रोदुसर्स की और एक हो गई अभिनेताओं की। और जिस केटेगरी में अवार्ड दिया जा रहा है, उसी ब्रांच के लोग उस केटेगरी के लिए वोट करते है। जैसे की अगर बेस्ट एक्टर का अवार्ड दिया जा रहा है, तो वोटिंग करते है सिर्फ एक्टर्स या बेस्ट डायरेक्टर का अवार्ड दिया जा रहा है, तो वोटिंग करते है उसमे सिर्फ बाकि डायरेक्टर्स। वोटिंग करने का ये जो प्रक्रिया है, ये बैलट पेपर के द्वारा किया जा सकता है या फिर ऑनलाइन भी किया जा सकता है। और अधिकांश अवार्ड की केटेगरी जो है, उनमे साधारण बहुमत वोटिंग चलती है। यानि जिस एक्टर को या जिस डायरेक्टर को सबसे जादा वोट्स मिले, तो सरलता से वह एक्टर या डायरेक्टर अवार्ड जीत जाता है। इसे साधारण बहुमत वोटिंग कहाँ जाता हैं।
बेस्ट पिक्चर के विजेता को कैसे चुना जाता है ( Best Picture Award )
बेस्ट पिक्चर जो केटेगरी है, उसमे रैंक चॉइस वोटिंग सिस्टम का इस्तेमाल किया जाता है। ये एक ऐसा सिस्टम है, जिसे अधिमान्य मतपत्र (Preferential Ballot) भी कहते है। इसमें आपको एक फ़िल्म नहीं चुनने है। बल्कि जो सारे नॉमिनेशन यहाँ पर सूचीबद्ध किये गए है। आपको अपनी पसंद के अनुसार इसे व्यवस्थित करना है, की 1 नंबर आपके हिसाब से कौन फ़िल्म होनी चाहिए, 2 नुम्बेर पर किसे मिलनी चाहिए, 3 नंबर पर किसे होना चाहिए। तो 1 से लेकर जितने भी उम्मीदवार है यहाँ पर, इन्हें रैंक में लगाना होता है। अब वोट गिनते समय ये देखा जायेगा की रैंक 1st पे कितने लोंगो ने किसे चुना। अगर किसी फ़िल्म को 50% से जादा नंबर 1 वोट मिल जाते है, तो वह फ़िल्म आसानी से बेस्ट पिक्चर अवार्ड जीत जाएगी। लेकिन अगर किसी फ़िल्म को 50% से कम नंबर 1 वोट मिलता है, तो यहाँ पर रैंक नंबर 2 विकल्प को देखा जायेगा। सारे वोटर्स ने जिन – जिन फ़िल्म को 2nd रैंक पर चुना है, उनके वोटों को पुरानार्वितरित (Redistributed) करके नंबर 1 पर जोड़ दिया जायेगा। अब फिर से देखां जायेगा की क्या किसी फ़िल्म ने 50% का वोट शेयर पार किया। यदि नहीं किया, तो ये प्रक्रिया को एक बार फिर दोहराया जायेगा। ये प्रक्रिया तब तक दोहराया जाता रहेगा जब तक कोई फ़िल्म 50% का वोट शेयर पार नहीं कर लेती। अवार्ड जितने के बाद जो ट्रॉफी दी जाती है। वों एक छोटी सी मूर्ति होती है, जो की ठोंस कांस्य (Solid Bronze) का बना है। और उसके ऊपर कोटिंग करी गई है 24 कैरेट सोने को।

Bonus Knowledge
- आज की दिन इस ऑस्कर अवार्ड की कीमत इतनी जादा है, की अकादमी ने कानून बना रखा है, की कोई भी अपना ऑस्कर बेच नहीं सकता। नियम यह बनाया गया है, की अगर किसी को अपना ऑस्कर बेचना है, तो उसे पहले अकादमी को वापस बेचना पड़ेगा $1 डॉलर की कीमत पर।
- सन 1953 पहली बार था, जब टेलीविज़न पर अमेरिका में इन अवार्ड्स को दिखाया गया और सन 1969 में पहली बार इन्हें अंतरराष्ट्रीय स्तर पर प्रसारित किया गया था।
- ऑस्कर (Oscar) शब्द का पहली बार इस्तेमाल किया गया था, साल 1934 के अवार्ड समारोह में ऑल्ट डिज्नी ( Walt Disney ) के द्वारा।
Conclusion: निष्कर्ष
- ऑस्कर अवार्ड को दुनिया का सबसे लोकप्रिय फ़िल्म अवार्ड माना जाता है। और आज के दिन ये अवार्ड इतने बड़े हो चुके है, की दुनिया भर के फ़िल्म निर्माता, अभिनेता और निर्देशक एक ऑस्कर जितना चाहते है। उनका सबसे बड़ा सपना है, एक ऑस्कर जितना।
- इस साल 2023 में भारत की दों फ़िल्मों ने दों ऑस्कर अपने नाम किये है। इनमे पहली RRR है, जिसके गाने नाटू – नाटू ने बेस्ट ओरिजिनल सॉंग का आवर्ड जीता है। और दूसरा फ़िल्म The Elephant Whisperers है, जिसने बेस्ट शोर्ट डॉक्यूमेंट्री का अवार्ड जीता है।
- अकादमी अवार्ड (Oscar) में वोटिंग सिस्टम के माध्यम से विजेता घोषित किया जाता है। इसमें नियम यह बनाया गया है, की पहले फ़िल्मों को एलिगिबिलिटी क्राइटेरिया पूरा करना होता है। उसके बाद The Academy of Motion Picture Arts and Sciences (AMPAS) के द्वारा फ़िल्मों को शोर्टलिस्ट किया जाता है। फिर इसके बाद शोर्टलिस्ट किया गया फ़िल्मों से कुछ फ़िल्म को नॉमिनेत किया जाता है। और अब नॉमिनेत किया गया फ़िल्मों को वोटिंग सिस्टम के जरिए विजेता घोषित किया जाता हैं।
Mind Test
Q.1 ऑस्कर अवार्ड में कितने कैरेट सोने का परत कोटिंग किया जाता है।
*Comment करके जरुर जवाब दे। और अपना कीमती सुझाव जरुर दे।
Note*
ये प्रशन इसी लेख के अंदर से पूछा गया हैं।
Excellent article. I am facing many of these issues as well..